कल के अखबार पढ़े, आज के भी। पंक्तियाँ जो मन में कौंधती रहीं- “अब जंग टालने की…
आजकल मुझे हंसी बहुत आती है, सो आज मैं फ़िर हँसा। अब ‘ज्ञान जी‘ की प्रविष्टियों का…
भारत की साझी विरासत को लेकर बड़ा चिंतनशील हो चला हूँ। भारत की यह साझी विरासत सम्प्रदायवाद…